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घड़ियाल और मगरमच्छ में क्या अंतर है

Science4 years ago


घड़ियाल और मगरमच्छ में क्या अंतर है 




घड़ियाल और मगरमच्छ दोनों ही अर्धजलीय जंतु हैं अर्थात ये पानी और जमीन दोनों पर ही अपना निवास करते हैं। घड़ियाल और मगरमच्छ दोनों ही इतने समान होते हैं कि अकसर लोग दोनों को एक ही समझ बैठते हैं पर दोनों अलग अलग जैववैज्ञानिक परिवार से सम्बंधित होते हैं और कई विशिष्टायें उन्हें एक दूसरे से अलग करती हैं। आइये जाने घड़ियाल और मगरमच्छ के बारे में कुछ रोचक और मजेदार बातें और साथ ही देखें दोनों में अंतर क्या है 


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घड़ियाल : घड़ियाल को घड़ियाल क्यों कहा जाता है

घड़ियाल भी एक तरह का मगरमच्छ ही होता है किन्तु अपनी कुछ विशिष्टताओं की वजह से मगरमच्छों से अलग होता है। घड़ियाल को मछली खाने वाला मगरमच्छ के रूप में भी जाना जाता है। इसके इंटरलॉकिंग दांत इसे एक कुशल मछली पकड़ने वाला शिकारी बनाती हैं। घड़ियाल के थूथन पर एक घड़ेनुमा आकृति होती है। इसी वजह से इसे घड़ियाल कहा जाता है। 

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घड़ियाल गेवेलडी फैमिली का सदस्य है। इसका जैव वैज्ञानिक नाम गैवियलिस गैंजेटिकस होता है। यह जीवित मगरमच्छों में सबसे लम्बा होता है। नर घड़ियाल 3 से 6 मीटर यानि 9 से 18 फ़ीट लम्बा होता है जबकि मादा घड़ियाल 2.6 से 5 मीटर अर्थात 6 फ़ीट से 14 फ़ीट 9 इंच लम्बी होती हैं। घड़ियाल प्रायः काले या जैतून के रंग के होते हैं। इनका निचला हिस्सा पीला या सफ़ेद होता है। घड़ियाल का थूथन लम्बा, पतला और ऊपर एक घड़े की तरह की आकृति वाला होता है। घड़ियाल में मुंह में 110 तेज तथा इंटरलॉकिंग दांत होते हैं। घड़ियाल की एक लम्बी पूंछ होती है। इसके पंजों के बीच जालीनुमा रचना होती है। घड़ियाल के मुंह ही झपट और पकड़ बहुत ही मजबूत होती है। यह करीब 1784 से 2006 न्यूटन बल से अपने शिकार को दबोच सकता है।

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घड़ियाल भारतीय महाद्वीप के उत्तरी मैदानी भागों की नदियों में मुख्य रूप से पाए जाते हैं। ये ताजे पानी में निवास करते हैं। ठण्ड के मौसम के अंत में इनका मैटिंग पीरियड शुरू होता है और फिर मादाएं बसंत ऋतू में नम सैंडबैंक पर अंडा देने के लिए घोसला बनाती हैं। ये एक बार में 20 से 95 तक अंडे देती हैं। 

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घड़ियाल एक कोल्ड ब्लडेड प्राणी है अर्थात इसका शरीर वातावरण के तापमान के अनुसार परिवर्तित नहीं होता है अतः ये गर्मियों में सुबह और शाम को पानी के किनारे धुप में पड़े रहते हैं और जब मौसम गर्म हो जाता है तो ये दोपहर में पानी में चले जाते हैं।

घड़ियाल आंसू क्यों बहाते हैं

घड़ियाली आंसू तो आपने खूब सुना होगा। कभी आपने सोचा है ये घड़ियाल क्यों रोते हैं ? खाते समय घड़ियालों की आँखों से आंसू निकलते हैं। उनके इसतरह आंसू निकलने का कारण यह है कि भोजन चबाते समय ये ढेर सारी हवा भी अंदर ले लेते हैं। यह हवा लैक्रिमल ग्लैंड पर दबाव डालती है जिसकी वजह से इसमें से स्रवण होने लगता है और लगता है घड़ियाल रो रहे हैं। एक और कारण इसके पीछे बताया जाता है। घड़ियालों की तीन पलकें होती हैं। पानी में रहने के लिए तीसरी पालक आँखों पर आ जाती हैं। इस पलक को नम रखने के लिए ये अश्रु ग्रंथियां सक्रीय होती हैं।
वर्तमान में भारत में घड़ियालों की संख्या बहुत ही कम रह गयी है। अनेक संरक्षण कार्यक्रमों के फलस्वरूप इसकी संख्या कुछ बढ़कर साढ़े पांच सौ के करीब पंहुची है। भारत में घड़ियाल मुख्य रूप से रामगंगा, गंगा, यमुना, सोन, नर्मदा, चम्बल आदि नदियों में पाए जाते हैं।


मगरमच्छ : एक खतरनाक शिकारी

मगरमच्छ एक प्रकार के रेप्टाइल होते हैं जो उभयचर होते हैं अर्थात यह जल तथा जमीन दोनों में निवास करते हैं। मगरमच्छ एक खतरनाक मांसाहारी जीव है जो अपने शिकार को सीधे निगल जाते हैं।

मगरमच्छ प्रायः उष्णकटिबंधीय क्षेत्रों में जैसे अफ्रीका, एशिआ, अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया में पाए जाते हैं। मगरमच्छ डायनसोर और पक्षियों के दूर के रिश्तेदार माने जाते हैं। ये दुनियां भर में रेप्टाइलों में सबसे बड़े होते हैं। एक वयस्क मगरमच्छ की लम्बाई 20 फ़ीट से ज्यादा हो सकती है। इनका वजन एक टन के आसपास होता है। हालाँकि कुछ मगरमच्छ जो बौने मगरमच्छ बोले जाते हैं उनकी लम्बाई 6 फ़ीट के आसपास होती है। मगरमच्छ काफी लम्बा जीते हैं। इनकी औसत आयु 40 से 50 वर्ष की मानी जाती है। मगरमच्छ के पंजे जालीदार होते हैं जिसकी वजह से इन्हें तैरने में आसानी होती है। मगरमच्छ के मुंह में 80 दांत होते हैं और इनके दांत इनके जीवन काल में 50 बार बदल सकते हैं। 

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मगरमच्छ एक बार में 7 से 95 अंडे देते हैं। मगरमच्छ अंडे देने के लिए किनारों पर बालू में अपने घोसले बनाते हैं। अंडे देने की प्रक्रिया प्रायः रात में ही होती है जिसमे लगभग 30 से 40 मिनट का समय लगता है। परिपक्व बच्चे अंडे के अंदर से ही आवाज करना शुरू कर देते हैं। इनके थूथनों पर एक एग टूथ होता है जो अंडे तोड़ने में इनकी मदद करता है। मादा मगरमच्छ अपने नन्हे बच्चों को अपने मुंह में लेकर उन्हें पानी तक ले जाती हैं। 



मगरमच्छ एक कोल्ड ब्लडेड जीव हैं।इसी वजह से इनके शरीर में उपापचय बहुत ही धीमी गति से होता है और ये महीनों बिना भोजन के रह सकते हैं। इनके शरीर पर पसीने की ग्रंथियां नहीं होती हैं। इनके शरीर का तापमान इनके मुंह द्वारा बाहर निकलता है। यही कारण है ये अकसर अपना मुंह खोले रहते हैं।

घड़ियाल और मगरमच्छ में क्या अंतर है

  • घड़ियाल का थूथन चौड़ा होता है और यह अंग्रेजी के U शेप में खुलता है वहीँ मगरमच्छ का थूथन नुकीला होता है और यह अंग्रेजी के V शेप की तरह होता है।


  • घड़ियाल ताजे पानी में खासकर नदियों में पाया जाता है जबकि मगरमच्छ ताजे पानी और खारे पानी दोनों में पाया जाता है।

  • नर घड़ियाल के थूथन पर एक घड़ेनुमा आकृति होती है जबकि मगरमच्छ के थूथन पर ऐसी कोई आकृति नहीं होती।
  • घड़ियाल अधिकत्तम 18 फ़ीट तक लम्बा होता है जबकि मगरमच्छ 20 फ़ीट से भी ज्यादा लम्बे पाए गए हैं। ये दुनियां के सबसे लम्बे रेप्टाइल होते हैं।

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  • घड़ियाल मगरमच्छ की तुलना में कम आक्रामक हैं और मनुष्य पर जल्दी आक्रमण नहीं करते वहीँ मगरमच्छ के मनुष्य पर आक्रमण करने की अक्सर घटनाएं सामने आती हैं।

  • घड़ियाल अपने जबड़े पूरी तरह से खोल नहीं पाते। इसी वजह से वे छोटे जंतुओं और मछलियों का शिकार करते हैं वहीँ मगरमच्छ मुंह काफी ज्यादा खोल पाते हैं अतः वे बड़े जंतुओं का भी शिकार कर लेते हैं।

उपसंहार

घड़ियाल और मगरमच्छ दोनों ही रेप्टाइल और दोनों ही उभयचर यानि एम्फीबिआ हैं। दोनों जंतु शीत रक्त के प्राणी हैं और दोनों ही मांसाहारी हैं। परन्तु दोनों में कुछ अंतर भी है। घड़ियाल जहाँ भारत, पाकिस्तान और बांग्लादेश के मीठे पानी का जीव है वहीँ मगरमच्छ पूरी दुनियां में पाया जाने वाला मीठे तथा खारे दोनों जल में रहने वाला जंतु है। मगरमच्छ घड़ियाल की तुलना में ज्यादा लम्बे और खतरनाक होते हैं।

दोस्तों घड़ियाल और मगरमच्छ में अंतर बताने वाला या पोस्ट कैसा लगा, कमेंट के माध्यम से जरूर बताइयेगा। पसंद आये तो इसे शेयर जरूर कीजियेगा और ऐसी ही रोचक और ज्ञानवर्धक जानकारियों के लिए हमारे ब्लॉग को सब्सक्राइब जरूर कीजियेगा। धन्यवाद्। 


14 Comments

(Hide Comments)
  • Unknown

    July 26, 2020 / at 2:31 amsvgReply

    Much good..

  • Unknown

    November 1, 2020 / at 6:35 pmsvgReply

    Important information…

  • Vikram

    April 1, 2021 / at 5:12 pmsvgReply

    विस्तृत जानकारी देने के लिए शुक्रिया

  • Unknown

    April 6, 2021 / at 2:21 amsvgReply

    I impressed it.

  • Unknown

    June 6, 2021 / at 8:00 amsvgReply

    बहुत बहुत धन्यवाद इतनी अच्छी जानकारी डाली है

  • Unknown

    August 31, 2021 / at 1:13 pmsvgReply

    thankyou. very informative

  • बेनामी

    July 10, 2022 / at 12:04 pmsvgReply

    Good👍

  • नीलेश द्विवेदी

    November 14, 2022 / at 5:04 pmsvgReply

    बेहतरीन जानकारी हेतु धन्यवाद

  • बेनामी

    November 30, 2022 / at 11:54 amsvgReply

    Thanks a lot brother ❤️‍🔥

  • Niks

    January 9, 2023 / at 2:43 pmsvgReply

    बहुत ही अच्छी जानकारी दी है आपने

  • Contact Dinesh

    April 19, 2023 / at 4:25 pmsvgReply

    घड़ियाल और मगरमच्छ के बारे में बहुत बढ़िया जानकारी

  • Niks

    June 20, 2023 / at 4:09 amsvgReply

    क्या किंग कोबरा सांप घड़ियाल को अपने विष से मार सकता है ?

  • Niks

    June 20, 2023 / at 8:57 amsvgReply

    इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.

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