NEET क्या है
NEET की शुरुआत कैसे हुई
NEET परीक्षा में शामिल होने के लिए आवश्यक योग्यताएं
NEET की परीक्षा का माध्यम क्या है
NEET प्रवेश परीक्षा की फीस कितनी है
NEET परीक्षा का पैटर्न
राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा(स्नातक) या NEET एक अखिल भारतीयप्री मेडिकल प्रवेश परीक्षा है, जो स्नातक चिकित्सा (एमबीबीएस),दन्त चिकित्सा (बीडीएस) आदि में प्रवेश पाने के लिए एक अर्हक(क्वालीफाइंग) परीक्षा है । मे डि क ल कौं सि ल ऑफ़ इं डि या औ र डेंटल कौंसिल ऑफ़ इंडिया द्वारा मान्यताप्राप्त भारत में चलने वाले सभी सरकारी और निजी कालेजों में प्रवेश इसी परीक्षा के परिणाम के आधार पर किया जाता है। इनके अतिरिक्त आयुष (बीएएमएस, बीयूएमस, बीएचएमएस आदि) पाठ्यक्रम और विदेशों में प्राथमिक चिकित्सा योग्यता हासिल करने के इच्छुक लोगों के लिए भी इस परीक्षा को उत्तीर्ण करना अनिवार्य है।
परीक्षा राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी (एनटीए) द्वारा आयोजित की जाती है, जो सीट आवंटन के लिए स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय और राज्य परामर्श प्राधिकरणों के तहत स्वास्थ्य सेवा महानिदेशालय को परिणाम प्रदान करती है।
भारत के राजपत्र में दिनांक 21 दिसंबर 2010 में प्रकाशित अधिसूचना के अनुसार मेडिकल कौंसिल ऑफ़ इंडिया ने केंद्र सरकार के अनुमोदन पर स्नातक चिकित्सा शिक्षा 1997 के रेगुलेशंस में संशोधन करते हुए मेडिकल शिक्षा लिए एकल पात्रता सह प्रवेश परीक्षा का प्रावधान किया अर्थात प्रत्येक शैक्षणिक वर्ष में एमबीबीएस पाठ्यक्रम में प्रवेश के लिए राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा NEET का आयोजन होगा।
मेडिकल कौंसिल ऑफ़ इंडिया और डेंटल कौंसिल ऑफ़ इंडिया ने संयुक्त रूप से अधिसूचना जारी की कि MBBS और BDS में एडमिशन के लिए राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा का आयोजन केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) के द्वारा होगा।
इस प्रकार NEET की पहली परीक्षा 5 मई 2013 को आयोजित की गई।
NEET भारत भर में 66,000 से अधिक एमबीबीएस और बीडीएस सीटों में प्रवेश के लिए एक प्रवेश प्रवेश परीक्षा है। 2019 से, राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी सीबीएसई के बजाय एनईईटी का संचालन कर रही है।
NEET परीक्षा में शामिल होने के लिए आवश्यक योग्यताएं
Eligiblity for appearing in NEET
NEET प्रवेश परीक्षा की फीस कितनी है
NEET प्रवेश परीक्षा में आवेदन शुल्क 1500 रुपये हैं। अनुसूचित जाति,जनजाति, ट्रांसजेंडर उम्मीदवारों के लिए यह 800 रुपये तथा EWS और OBC के लिए यह 1400 रुपये हैं। इस आवेदन शुल्क का भुगतान केवल नेट बैंकिंग, डेबिट/क्रेडिट कार्ड और एसबीआई/सिंडीकेट/आईसीआईसीआई/एचडीएफसी बैंक और पेटीएम सेवा का उपयोग करके ऑनलाइन मोड में किया जा सकता है।
NEET परीक्षा का पैटर्न
भौतिकी, रसायन विज्ञान, वनस्पति विज्ञान और प्राणीविज्ञान से प्रश्न पूछे जाते हैं। प्रत्येक सेक्शन से 45 प्रश्न आते हैं यानि कुल 180 प्रश्न। एक सही उत्तर पर उम्मीदवार को 4 अंक मिलते हैं और हर गलत उत्तर के लिए 1 अंक काट लिया जाता है। यदि उम्मीदवार ने किसी प्रश्न का उत्तर नहीं दिया है तो उसके लिए कोई अंक नहीं दिया जाता। कुल समय अवधि 3 घंटे की है।
JEE का फुलफॉर्म क्या होता है
JEE Main परीक्षा के लिए न्यूनत्तम योग्यता
JEE Main प्रवेश परीक्षा के लिए कितनी फीस लगती है
JEE Main प्रवेश परीक्षा में कितने पेपर होते हैं
JEE-Advanced परीक्षा
JEE एक अखिल भारतीय स्तर की इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा है जिसके द्वारा भारत में विभिन्न सरकारी एवं गैर सरकारी इंजीनियरिंग कालेजों में प्रवेश मिलता है। वास्तव में JEE प्रवेश परीक्षा दो तरह की होती है JEE Main और JEE Advance . JEE Main परीक्षा NTA के द्वारा आयोजित कराई जाती है। यह परीक्षा वर्ष में चार बार फ़रवरी,मार्च, अप्रैल और मई में आयोजित की जाती है।
पहले इंजीनियरिंग में एडमिशन के लिए अखिल भारतीय स्तर पर AIEEE और IIT-JEE परीक्षाओं का आयोजन कराया जाता था जिसमे AIEEE राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संसथान, भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थानों तथा कुछ अन्य कालेजों में प्रवेश के लिए तथा IIT-JEE आईआईटी संस्थानों में प्रवेश के लिए होता था। बाद में 2012 में केंद्रीय माध्यमिक बोर्ड (CBSE) ने घोषणा की कि AIEEE तथा IIT-JEE की जगह JEE Main और JEE Advance परीक्षा का आयोजन किया जाएगा जिसमे JEE Main में चयनित छात्र ही JEE एडवांस में बैठने के पात्र होंगे।
What is the Full Form of JEE
JEE का फुलफॉर्म Joint Entrance Examination होता है और यह प्रवेश परीक्षा नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) के द्वारा आयोजित करायी जाती है।
जो छात्र JEE Main की परीक्षा मे शामिल होना चाहते हैं उनके लिए कुछ न्यूनत्तम योग्यताएं निर्धारित की गयीं हैं। छात्रों को JEE Main का फॉर्म भरते समय सभी क्राइटेरिया को अच्छी तरह से पढ़ लेना चाहिए।
JEE Main प्रवेश परीक्षा का फॉर्म भरते समय प्रति उम्मीदवार 650 रुपये लगते हैं। महिला तथा आरक्षित वर्ग के उम्मीदवारों को 50 प्रतिशत की छूट मिलती है और उन्हें केवल 325 रुपये ही देने पड़ते हैं।
JEE Main प्रवेश परीक्षा में कितने पेपर होते हैं
JEE Main प्रवेश परीक्षा में छात्रों को दो पेपर देने होते हैं। B.Tech और B.E. में एडमिशन के इच्छूक छात्रों के लिए पेपर I तथा B.Arch और B.Plan के लिए पेपर II देना होता है। पेपर II भी दो भागों में बटा होता है पेपर 2A तथा पेपर 2B JEE Main की परीक्षा ऑनलाइन ली जाती है किन्तु ड्राइंग की परीक्षा ऑफलाइन ली जाती है। JEE Main की में B.E. और B.Tech परीक्षा में 90 बहुविकल्पी प्रश्न होते हैं। इनका पूर्णांक 300 होता है। B.Arch के लिए पेपर 2A में 82 प्रश्न होते हैं जो पुरे 400 अंक के होते हैं। B.Plan के पेपर 105 बहुविकल्पी प्रश्न होते हैं और इनका भी कुल अंक 400 होता है।
JEE Main परीक्षा कुल 13 भाषाओँ में आयोजित की जाती है
JEE-Advanced जिसे पहले IIT-JEE के नाम से जाना जाता था, एक शैक्षणिक परीक्षा है जो भारत में प्रतिवर्ष आयोजित की जाती है। इस परीक्षा का उद्द्येश्य छात्रों को भारत के विभिन्न प्रतिष्ठित IIT कॉलेजों में नामांकन के लिए एक प्रवेश द्वार उपलब्ध कराना है।
JEE-Advanced परीक्षा जिसका फुलफॉर्म जॉइंट एंट्रेंस एग्जामिनेशन -एडवांस होता है, भारत के सात पुराने IIT संस्थानों IIT रुड़की, IIT खड़गपुर, IIT कानपुर, IIT बॉम्बे, IIT मद्रास, IIT गुआहाटी में से किसी एक द्वारा जॉइंट एडमिशन बोर्ड के मार्गदर्शन में कराई जाती है।
यह परीक्षा भारत के आईआईटी में प्रवेश का मार्ग प्रशस्त करती है। आईआईटी के अतिरिक्त मरीन इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टिट्यूट, इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ पेट्रोलियम एंड एनर्जी, राजीव गाँधी इंस्टिट्यूट पेट्रोलियम टेक्नोलॉजी, इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ स्पेस टेक्नोलॉजी, इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ साइंस एजुकेशन एंड रिसर्च और इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ़ साइंस भी अपने यहाँ इसी परीक्षा के आधार पर एडमिशन देते हैं। भारत के अतिरिक्त कैंब्रिज यूनिवर्सिटी और नेशनल यूनिवर्सिटी ऑफ़ सिंगापुर में भी इसमें प्राप्त अंकों के आधार पर एडमिशन मिलता है।
Conclusion:
NEET और JEE परीक्षाओं के आयोजन से चिकित्सा और अभियंत्रण क्षेत्र में रूचि रखने और उनको अपना करियर बनाने का सपना देखने वाले छात्रों के न केवल उद्द्येश्य की पूर्ति होती है बल्कि इनसे उनका समय उनका धन भी बचता है। मेडिकल और इंजीनियरिंग में एडमिशन के लिए पहले हर राज्य और संस्थाएं अपना अपना एंट्रेंस टेस्ट करवाती थीं। इससे छात्रों का बहुत सारा समय और धन दोनों बरबाद होते थे। NEET और JEE की परीक्षाओं ने अपनी पारदर्शिता और उपयोगिता की वजह से छात्रों का बहुत ही मददगार साबित हुआ है।