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स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे में क्या अंतर है

Infrastructure2 years ago

स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे में क्या अंतर है 

सड़कें किसी देश की अर्थव्यवस्था को उन्नत और सुदृढ़ बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। ये किसी देश की आर्थिक सेहत को प्रतिबिंबित करती हैं। भारत में भी सड़कों का एक विशाल नेटवर्क है और इस मामले में पूरी दुनिया में भारत का स्थान चीन के बाद दूसरा है। भारत में सड़क नेटवर्क में मुख्य रूप से तीन तरह की सड़कें आती हैं स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे तथा एक्सप्रेसवे। यात्री परिवहन तथा माल ढुलाई में इन तीनों ही तरह की सड़कों का महत्वपूर्ण योगदान है। आज के इस पोस्ट में हम पढ़ेंगे राज्य राजमार्ग यानि स्टेट हाईवे क्या है, नेशनल हाईवे अर्थात राष्ट्रीय राजमार्ग क्या है, एक्सप्रेसवे किसे कहते हैं और इन तीनों में क्या अंतर है ,एक्सप्रेसवे और हाईवे में क्या फर्क है। 

स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे में क्या अंतर है

भारत में राष्ट्रीय राजमार्ग और एक्सप्रेसवे के बीच क्या अंतर होता है?

राज्य राजमार्ग या स्टेट हाईवे किसे कहते हैं

What is State Highway ?


राज्य राजमार्ग वे सड़कें हैं जो राज्य की राजधानी को जिले और कस्बों से जोड़ती हैं। ये हाईवे आमतौर पर जिलों या शहरों के बीच बनाए जाते हैं जो एक राज्य से शुरू होते हैं और उसी राज्य में खत्म हो जाते हैं. इनसे गांव, शहर और कस्बों की सड़कें सीधे आकर मिलती हैं। स्टेट हाइवेज राज्य के जिलों तथा कस्बों को जोड़ने के अतिरिक्त नजदीकी नेशनल हाइवेज और पड़ोस के राज्यों के स्टेट हाइवेज को भी कनेक्टिविटी प्रदान करती है। आजकल स्टेट हाइवेज भी कई कई लेन के होते हैं। स्टेट हाइवेज को अंग्रेजी के SH हाइफन और सड़क संख्या से दर्शाया जाता है। इनके माइलस्टोन पर हरे रंग की पट्टी होती है। यह अधिकतर दो लेन में होते हैं। इन्हें प्रदेश सरकारें समय-समय पर बनवाती रहती हैं। स्टेट हाईवे की गति सीमा 60 से 80 किमी प्रति घंटा है।

स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे में क्या अंतर है

स्टेट हाईवे का निर्माण और मेंटेनेंस कौन करता है

जैसे राष्ट्रीय राजमार्ग की देखभाल केंद्र सरकारें करती हैं, वैसे ही राजकीय राजमार्ग की जिम्मेदारी प्रदेश सरकार के जिम्मे होती है। हालांकि राज्य राजमार्गों का निर्माण और रखरखाव संबंधित राज्य सरकारों की जिम्मेदारी है, फिर भी सन 2000 में केंद्रीय सड़क निधि (सीआरएफ) के पुनरुद्धार के साथ, केंद्र राज्य सड़कों के विकास के लिए वित्तीय सहायता प्रदान करता है। इसके अलावा, केंद्र सरकार अंतर-राज्य कनेक्टिविटी के लिए 100% अनुदान और सीआरएफ से आर्थिक महत्व की परियोजनाओं के लिए 50% अनुदान प्रदान करती है।

स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे में क्या अंतर है

पुरे देश में स्टेट हाईवे की लम्बाई कितनी है ?

पूरे देश में राजकीय या राज्य राजमार्ग की लंबाई 1,48,256 किमी है। भारत में स्टेट हाइवेज की लम्बाई के मामले में महाराष्ट्र अग्रणी राज्य है। इसके बाद कर्णाटक, राजस्थान और तमिलनाडु आते हैं।


नेशनल हाईवे या राष्ट्रीय राजमार्ग किसे कहते हैं ?

What is National Highway

जो हाईवे या सड़क एक राज्य से दूसरे राज्य को जोड़ते हैं, राष्ट्रीय राजमार्ग यानि नेशनल हाईवे कहलाते हैं। ये राजमार्ग भारत के प्रमुख शहरों को जोड़ती है, राज्य की राजधानी और औद्योगिक शहरों को बंदरगाहों से जोड़ती हैं । कभी कभी पड़ोस के देशों को भी जोड़ने वाली सडकों को भी नेशनल हाईवे कहा जाता है। यह मुख्य रूप से लंबी दूरी की सड़कें हैं और दो लेन में होती हैं। हर दिशा में जाने के लिए एक लेन। हालांकि कुछ राज्यों में 4 से 6 लेन की सड़कों का भी विकास हुआ है। इनके माइलस्टोन पर पीले रंग की पट्टी लगी होती है। राष्ट्रीय राजमार्गों की लंबाई भारत की कुल सड़कों का मात्र 2 फीसद हिस्सा है लेकिन यह कुल ट्रैफिक का 40 फीसद भार उठाते हैं। नेशनल हाईवे पहले 75 मीटर चौड़ा बनाया जाता था लेकिन अब नेशनल हाईवे की चौड़ाई बढाकर 90 मीटर के करीब कर दी गई हैं। राष्ट्रीय राजमार्ग पर वाहनों की गति सीमा 80 से 100 किमी प्रति घंटा है।

नेशनल हाईवे प्रायः खूब चौड़ी, अच्छी तरह से डिजाइन की गयी, उच्च गुणवत्ता और तकनीक से लैस सड़क होती है जिसमे जगह जगह ट्रैफिक संकेत, ग्लो साइन, प्रकाश की व्यवस्था, ओवर ब्रिजेज आदि होते हैं। नेशनल हाइवेज को NH और हाइफ़न के साथ एक विशेष संख्या के साथ दर्शाया जाता है। आधुनिक नेशनल हाइवेज सिंगल लेन से लेकर आठ लेन तक होते हैं। इन हाइवेज के साथ किलोमीटर दर्शाने वाले पत्थर पीले रंग की पट्टी होती है।

स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे में क्या अंतर है

नेशनल हाईवे का निर्माण और रखरखाव कौन करता है

राष्ट्रीय राजमार्ग भारत सरकार के सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के अधीन आते हैं और इनके निर्माण और रखरखाव का जिम्मा भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI), नेशनल हाइवेज एंड डेवलपमेंट कारपोरेशन लिमिटेड (NHIDCL) और सम्बंधित राज्य के PWD का हैं। भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण का गठन संसद के एक अधिनियम, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण अधिनियम, 1988 के द्वारा किया गया था। प्राधिकरण ने फरवरी, 1995 में पूर्णकालिक अध्यक्ष और अन्य सदस्यों की नियुक्ति के साथ कार्य करना शुरू किया। इसे केंद्र सरकार की ओर से फंड किया जाता है।

इसे भी पढ़ें 





भारत की सबसे लम्बी नेशनल हाईवे कौन है ?

भारत की सबसे लम्बी नेशनल हाईवे की बात करे, तो इसका नाम NH 44 (NH-44) है, जो जम्मू और कश्मीर में श्रीनगर को देश के दक्षिणी भाग में स्थित तमिलनाडु के कन्याकुमारी को जोड़ता है, इस राष्ट्रीय राजमार्ग की कुल दूरी 3 हजार 745 किमी० है।

स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे में क्या अंतर है


भारत की सबसे छोटी नेशनल हाईवे

भारत का सबसे छोटा नेशनल हाईवे NH 47 ए (NH-47A) है, जो एर्णाकुलम को कोच्चि बंदरगाह से जोड़ता है तथा इस राजमार्ग की लम्बाई मात्र 6 किमी० है |


कैसे तय होती है राजमार्गों की संख्या

उत्तर से दक्षिण जाने वाले राष्ट्रीय राजमार्गों की संख्या सम होती है। सभी पूर्व से पश्चिम की ओर जाने वाले राजमार्गों के लिए विषम संख्या का इस्तेमाल होता है।

स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे में क्या अंतर है


स्टेट हाईवे को नेशनल हाईवे में बदला जा सकता है ?

अगर किसी राजकीय राजमार्ग को या एक्सप्रेसवे को राष्ट्रीय राजमार्ग का दर्जा देना होता है तो इसके लिए प्रदेश सरकार केंद्र से अनुमति मांगती है। केंद्र सरकार को देश की किसी सड़क को राष्ट्रीय राजमार्ग में तब्दील करने का अधिकार है। राष्ट्रीय राजमार्ग अधिनियम, 1956 की धारा 2 के तहत केंद्र सरकार किसी सड़क को एनएच घोषित करती है। किसी सड़क को राष्ट्रीय राजमार्ग बनाने का प्रस्ताव प्रदेश सरकार केंद्र के पास भेजती है। यह प्रस्ताव केंद्रीय परिवहन मंत्रालय और राजमार्ग, योजना आयोग के पास भेजा जाता है। फिर इस पर केंद्रीय कैबिनेट फैसला लेती है उसे मंजूरी देती है। ये सब होने के बाद इसे राष्ट्रीय राजपत्र के जरिए अधिसूचित किया जाता है। फिर सरकार की ओर से राष्ट्रीय राजमार्ग अधिनियम, 1956 में राष्ट्रीय राजमार्गों की सूची में संशोधन भी होता है।

भारत में नेशनल हाईवे की कुल लम्बाई

भारत में राष्ट्रीय राजमार्गों की कुल लंबाई 2014 में 91,287 किमी. से बढ़कर 2021 में लगभग 151,019 किमी हो गई है। सड़क परिवहन मंत्रालय के अनुसार महाराष्ट्र में नेशनल हाइवेज की लम्बाई देश में सबसे ज्यादा है। देश में नेशनल हाईवे देश में उपलब्ध कुल सड़क नेटवर्क का केवल 2% है लेकिन यह देश के सड़क ट्रैफिक का लगभग 40% हिस्सा वहन करते हैं. भारत का रोड नेटवर्क दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा नेटवर्क है।

एक्सप्रेसवे क्या होते हैं 

एक्सप्रेसवे जिन्हें हिंदी में द्रुतगामी मार्ग भी कहा जाता है, सबसे एडवांस ,हाई टेक और उच्च गुणवत्ता वाली सड़के होती हैं। इनका निर्माण अंतराष्ट्रीय मानकों को ध्यान में रखते हुए किया जाता है। एक्सप्रेसवे का निर्माण यात्रा तथा ट्रांसपोर्टेशन में लगने वाले समय को कम करने के उद्द्येश्य से किया जाता है। इन सड़कों पर स्पीड लिमिट से लेकर वाहनों के साइज के आधार पर उनकी लेन भी तय की जाती है। साथ ही अलग-अलग वाहनों के लिए अलग स्पीड लिमिट तय की जाती है। इन सड़कों पर एडवांस ट्रैफिक सिस्टम, टोल प्लाजा, यात्री लॉज जैसी सुविधाएं होती हैं। इनके अतिरिक्त एक्सप्रेसवे में एक्सेस रैंप, ग्रेड सेपरेशन, लेन डिवाइडर और एलिवेटेड सेक्शन जैसी सुविधाएं भी होती हैं। इनमें प्रवेश और निकास छोटी सड़कों के द्वारा नियंत्रित किया जाता है।

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सुरक्षा की दृष्टि से इन सड़कों पर जगह जगह कैमरे भी लगाए जाते हैं। इन सड़कों पर कोई तिराहा या चौराहा नहीं होता। बल्कि ऐसी जगहों पर फ्लाईओवर के माध्यम से इन सड़को को ऊपर ऊपर निकाल लिया जाता है। अन्य सड़कों से एक्सप्रेसवे पर जाने के लिए कुछ पॉइंट्स निर्धारित होते हैं। इसके लिए उन स्थानों पर रैंप या लूप बने होते हैं।

स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे में क्या अंतर है


एक्सप्रेसवे की निर्माण और मेंटेनेंस की जिम्मेवारी किसकी होती है 

एक्सप्रेसवे के कंस्ट्रक्शन और मेंटेनेंस MORTH के अधीन नेशनल एक्सप्रेसवे अथॉरिटी ऑफ़ इंडिया (NEA) के द्वारा किया जाता है। 

भारत के किस राज्य में सबसे ज्यादा एक्सप्रेसवे हैं 
भारत का पहला एक्सप्रेसवे कौन है 

दिसम्बर 2022 तक भारत में 3346.3 किलोमीटर एक्सप्रेसवे का निर्माण हो चूका था। इसमें से सबसे ज्यादा 1396 किलोमीटर उत्तर प्रदेश में (8 एक्सप्रेस वे), दूसरे नंबर पर महाराष्ट्र (5 एक्सप्रेसवे) तथा तीसरे स्थान पर हरियाणा (7 एक्सप्रेसवे ) है। भारत की सबसे लंबी एक्सप्रेसवे महाराष्ट्र में मुंबई नागपुर एक्सप्रेसवे है जो 520 किलोमीटर लम्बी है। भारत की सबसे चौड़ी और सबसे ज्यादा लेन वाली एक्सप्रेसवे दिल्ली डासना एक्सप्रेसवे है जिसमे 14 लेन हैं। यह दिल्ली मेरठ एक्सप्रेसवे का एक भाग है। मुंबई पुणे एक्सप्रेसवे भारत की पहली एक्सप्रेसवे है।

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दुनिया का सबसे लम्बा एक्सप्रेसवे कौन है 
भारत का सबसे लम्बा एक्सप्रेसवे कहाँ है
 
दुनिया का सबसे लंबा एक्सप्रेसवे (longest expressway of world) भारत में बन रहा है। 1380 किमी लंबा यह एक्सप्रेसवे (Delhi-Mumbai Expressway) देश की राजधानी नई दिल्ली को आर्थिक राजधानी मुंबई से जोड़ेगा। वर्तमान में भारत की सबसे लंबी एक्सप्रेसवे महाराष्ट्र में मुंबई नागपुर एक्सप्रेसवे है जो 520 किलोमीटर लम्बी है।

Conclusion 

इस प्रकार स्टेट हाईवे, नेशनल हाईवे और एक्सप्रेसवे तीनों ही तरह की सड़के पुरे देश को गतिशील रखती हैं। अपनी अपनी जगह इन तीनों का अपना महत्त्व है। तीनों के सामंजस्य से ही बड़े बड़े उद्योगों, खानों, बाज़ारों, बड़े बड़े शहरों से लेकर गाँव देहातों तक सामानों और यात्रियों का परिवहन सुगमता पूर्वक और द्रुत गति से किया जाता है।

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